ग़ज़ल
चूजों की हिफ़ाज़त का जिम्मा नागों को अगर दोगे लोगो.
सामान तबाही का अपने तुम ख़ुद ही कर लोगे लोगो.
रावण चहुँ ओर यहाँ पर हैं सीता का रूदन भी ज़ारी है,
तुम ही हो राम तुम्हीं लक्ष्मन, कब इन की ख़बर लोगे लोगो.
हाथों को धरे यूँ माथे पे तुम जंग को हारोगे कब तक,
जब ज़ुल्म से आँख मिलाओगे ,दावा है सँवर लोगे
लोगो.
पश्चिम से तो लपटें
उट्ठे हैं, पूरब से भी ख़तरा है तुमको,
सोये जो रहे ग़र ऐसे ही,पत्तों से बिखर लोगे लोगो.
देखे हो तमाशा साहिल पे, मौजों का इल्म नहीं
तुमको,
पानी जो तुम्हारे सर से गया, तुम ही ख़ुद ही सुधर
लोगे लोगो.
डॉ. सुभाष भदौरिया गुजरात ता. 17-06-2017
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